*तेज प्रताप के पटना में पार्क से अटल बिहारी का नाम हटाने पर बोले प्रशांत किशोर, कहा- नाम को बदलना ओछी मानसिकता को दर्शाता है, लेकिन नीतीश इस पर सवाल उठाएंगे नहीं*
मुजफ्फरपुर: जन सुराज के सूत्रधार प्रशांत किशोर ने बिहार की राजधानी पटना में सूबे के कैबिनेट मंत्री तेज प्रताप यादव द्वारा पूर्व प्रधानमंत्री स्व. अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर रखे पार्क का नाम बदलने के मुद्दे पर नीतीश कुमार, तेज प्रताप को जमकर लताड़ लगाई। प्रशांत किशोर ने कहा कि ये इनकी ओछी मानसिकता को दिखाता है। नाम बदलने के बजाय नया पार्क बनवाएं और फिर नामकरण करें। कोई भी आदमी चाहे वो कांग्रेस के हों, भाजपा के हों या समाज के हों, जिसने राष्ट्र के लिए कुछ किया हो उनके नाम पर सड़क का नाम हो, पार्क का नाम हो, उसे बदलना अच्छी बात नहीं है। किसी और के नाम से बनाना है, तो नया पार्क बना दीजिए। लेकिन, किसी के नामकरण को हटाना आपकी ओछी मानसिकता को दिखाता है। लेकिन, नीतीश कुमार इस पर सवाल नहीं उठाएंगे, क्योंकि ये उनका आरजेडी दरवाजा है आज की तारीख में।
*बिहार का बच्चा-बच्चा जानता है कि नीतीश को सिर्फ सीएम बनने से है मतलब: प्रशांत किशोर*
मुजफ्फरपुर के सकरा वाजिद में मंगलवार को प्रेस वार्ता के दौरान
प्रशांत किशोर ने आगे कहा कि आज की तारीख में नीतीश कुमार की एक ही प्राथमिकता रहती है, किसी तरीके से मैं मुख्यमंत्री बना रहूं। ऐसा नहीं है कि इसके लिए आपको राजनीतिक विश्लेषक रहना है। गांव-गांव में लोग आपको समझ रहे हैं। हम तो इतने दिनों से गांव में चल रहे हैं और बच्चा-बच्चा इस बात को समझता है और इन्हीं शब्दों में कहता है। आप भी सुनते होंगे कि लोग कहते हैं कि अरे नीतीश ज को तो बस मुख्यमंत्री बनने से मतलब है। चाहे वो जैसे बने और जो उनके सीएम बनने में सहयोगी हैं वो नीतीश जी के हिसाब से ठीक है, जो सहयोगी नहीं है, उनके शब्दों में उसे कोई ज्ञान नहीं है। क्योंकि बिहार में एक ही ज्ञानी हैं, वो है नीतीश कुमार। ये बात तो हमको मानना पड़ेगा कि उन्हें इतना तो ज्ञान है कि कुर्सी पर कैसे बने रहना है। चाहे जनता का समर्थन हो या न हो, जनता उनको वोट करे या न करे। जनता चाहे वोट कांग्रेस को करे, आरजेडी को करे, भाजपा को करे या निर्दलीय को करे, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ही बनेंगे। ये उन्होंने तय कर लिया है। इतना उनको ज्ञान भी है समझ भी है, इस बात का वो फायदा उठा रहे हैं।
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